Connect with us
https://www.aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

नेशनल

भाजपाई बनते ही नरेश अग्रवाल ने जया को लपेटा, सुषमा ने जताया ऐतराज

Published

on

Loading

नई दिल्ली। सपा का साथ छोड़ बीजेपी में शामिल होते ही नरेश अग्रवाल विवादों में घिर गए। अग्रवाल ने बीजेपी में शामिल होते हुए सपा नेता जया बच्चन पर ऐसी टिप्पणी कर दी, जिस पर विदेश मंत्री और बीजेपी की वरिष्ठ नेता सुषमा स्वराज ने कड़ा ऐतराज जताया।

दरअसल, नरेश अग्रवाल ने बीजेपी में शामिल होने के बाद जया बच्चन को ‘ फिल्मों में नाचने वाली’ बताया। उन्होंने कहा कि समाजवादी पार्टी ने सिर्फ फिल्मों में नाचने वाली की वजह से उनका राज्यसभा टिकट काटा है। खास बात जिस समय अग्रवाल यह बयान दे रहे थे उस दौरान केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल और बीजेपी के प्रवक्ता संबित पात्रा भी वहां मौजूद थे।

अपने बयानों को लेकर पहले भी विवादों में रहे अग्रवाल के भाजपा में शामिल होने के लिए पार्टी मुख्यालय में एक संवाददाता सम्मेलन का आयोजन किया गया था, जहां उन्होंने यह टिप्पणी की। अग्रवाल ने कहा, ‘मेरी तुलना फिल्मों में नाचने और काम करने वाले लोगों के साथ की गई।’ नरेश अग्रवाल ने यह भी कहा कि राज्यसभा चुनावों में उनका विधायक बेटा भाजपा के पक्ष में मतदान करेगा। नरेश अग्रवाल के बेटे नितिन अग्रवाल अखिलेश सरकार में मंत्री रह चुके हैं और वर्तमान में हरदोई से सपा के विधायक हैं।

उनके बयान की निंदा करते हुए विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने कहा, ‘श्री नरेश अग्रवाल भारतीय जनता पार्टी में शामिल हुए हैं, उनका स्वागत है लेकिन जया बच्चन जी के विषय में उनकी टिप्पणी अनुचित एवं अस्वीकार्य है।’ भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने अग्रवाल की टिप्पणी से तुरंत पार्टी को अलग बताया और कहा कि उनकी पार्टी सभी क्षेत्रों के लोगों का सम्मान करती है और राजनीति में उनका स्वागत करती है।

उत्तर प्रदेश

जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं, मुख्तार की मौत पर बोले अखिलेश

Published

on

Loading

लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने मुख्तार अंसारी की मौत पर सवाल उठाए हैं। साथ ही उन्होंने इस मामले पर योगी सरकार को भी जमकर घेरा है। उन्होंने मामले की सर्वोच्च न्यायालय के जज की निगरानी में जांच किए जाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यूपी इस समय सरकारी अराजकता के सबसे बुरे दौर में है। यह यूपी की कानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।

सोशल मीडिया साइट एक्स पर अखिलेश ने लिखा कि  हर हाल में और हर स्थान पर किसी के जीवन की रक्षा करना सरकार का सबसे पहला दायित्व और कर्तव्य होता है। सरकारों पर निम्नलिखित हालातों में से किसी भी हालात में, किसी बंधक या क़ैदी की मृत्यु होना, न्यायिक प्रक्रिया से लोगों का विश्वास उठा देगा।

अपनी पोस्ट में अखिलेश ने कई वजहें भी गिनाई।उन्होंने लिखा- थाने में बंद रहने के दौरान ,जेल के अंदर आपसी झगड़े में ,⁠जेल के अंदर बीमार होने पर ,न्यायालय ले जाते समय ,⁠अस्पताल ले जाते समय ,⁠अस्पताल में इलाज के दौरान ,⁠झूठी मुठभेड़ दिखाकर ,⁠झूठी आत्महत्या दिखाकर ,⁠किसी दुर्घटना में हताहत दिखाकर ऐसे सभी संदिग्ध मामलों में सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश की निगरानी में जाँच होनी चाहिए। सरकार न्यायिक प्रक्रिया को दरकिनार कर जिस तरह दूसरे रास्ते अपनाती है वो पूरी तरह ग़ैर क़ानूनी हैं।

सपा प्रमुख ने कहा कि जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं।  उप्र ‘सरकारी अराजकता’ के सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है। ये यूपी में ‘क़ानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।

Continue Reading

Trending