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बिजनेस

100 रुपए के नए नोट का स्वागत के लिए हो जाइए तैयार

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नई दिल्ली। नोटबंदी के बाद से ही बाजार में एक के बाद एक नए नोट जारी हो रहे हैं। 500, 2000, 200 और 50 रुपए का नया नोट जारी करने के बाद अब भारतीय रिजर्व बैंक 100 रुपए का नया नोट जारी करने वाला है। सूत्रों से यह पता चला है कि इस नोट की छपाई अगले साल अप्रैल से शुरू की जा सकती है।

मीडिया रिपोट्र्स के मुताबिक यह काम 200 रुपये के नोट की छपाई पूरी होने के बाद शुरू हो जाएगा। रिपोर्ट में कहा गया है कि 100 रुपये के नए नोटों का डिजाइन भी नई सीरीज के बाकी नोटों की तरह ही होगा, हालांकि इनका आकार पुराने नोट के समान ही होगा। नये नोट आने के बाद 100 के पुराने नोट बंद नहीं होंगे और वह भी अन्य नोटों की तरह लीगल टेंडर रहेंगे।

इसके अलावा आरबीआई 100 रुपये का सिक्का लाने की तैयारी में भी है। वित्त मंत्रालय ने 100 और 5 रुपये के नए सिक्के जारी करने के लिए एक नोटिफिकेशन जारी किया है। तमिलनाडु के पूर्व मुख्यमंत्री और दक्षिण भारत के सुपरस्टार रहे डॉ. एमजी रामचंद्रन की जन्म शताब्दी के उपलक्ष्य में इसे जारी किया जाएगा।

दरअसल दुनिया के कई देशों की सरकारें समय-समय पर नोटों का डिजाइन बदलती रहती हैं। ऐसा जमाखोरी और कालेधन पर लगाम कसने के लिए किया जाता है। नोटबंदी के बाद से मोदी सरकार भी लगातार इसी कोश‍िश में जुटी हुई है।

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मुंबई बना एशिया के अरबपतियों की राजधानी, बीजिंग को पीछे छोड़ा

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मुंबई। मुंबई में अरबपतियों की संख्या बीजिंग से अधिक हो गई है। हुरुन रिसर्च की 2024 ग्लोबल रिच लिस्ट के अनुसार, मुंबई में 92 अरबपति हैं, जबकि बीजिंग में 91 अरबपति हैं। हालांकि चीन में भारत के 271 की तुलना में कुल मिलाकर 814 अरबपति हैं। ग्लोबल लेवल पर, मुंबई अब न्यूयॉर्क के बाद अरबपतियों के मामले में तीसरे स्थान पर पहुंच गया है, न्यूयार्क में अरबपतियों की संख्या 119 है। लिस्ट के मुताबिक, सात साल बाद लंदन 97 के साथ दूसरे स्थान पर है।

रिपोर्ट में कहा गया है, “मुंबई दुनिया में सबसे तेजी से बढ़ते अरबपतियों की राजधानी है, इस साल इसमें 26 अरबपति शामिल हुए और यह दुनिया में तीसरा व एशिया में अरबपतियों की राजधानी बन गया है। नई दिल्ली पहली बार शीर्ष 10 में शामिल हुई।” भारत की आर्थिक शक्ति उसकी अरबपति आबादी में उल्लेखनीय वृद्धि से और भी अधिक रेखांकित हुई। देश में आश्चर्यजनक रूप से 94 नए अरबपति जुड़े, जो संयुक्त राज्य अमेरिका को छोड़कर किसी भी देश में सबसे अधिक है। कुल मिलाकर यहां 271 अरबपति हो गए। यह उछाल 2013 के बाद से सबसे ज्‍यादा है और भारतीय अर्थव्यवस्था में बढ़ते आत्मविश्‍वास का प्रमाण है।

2024 हुरुन ग्लोबल रिच लिस्ट रिपोर्ट में कहा गया है कि भारतीय अरबपतियों की संचयी संपत्ति चीन की प्रति अरबपति औसत संपत्ति (3.2 बिलियन अमेरिकी डॉलर बनाम 3.8 बिलियन अमेरिकी डॉलर) को पार करते हुए 1 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर तक पहुंच गई।

रिपोर्ट में बताया गया है कि उद्योग के लिहाज से फार्मास्युटिकल क्षेत्र 39 अरबपतियों के साथ सबसे आगे है, इसके बाद ऑटोमोबाइल और ऑटो कंपोनेंट उद्योग (27) और रसायन क्षेत्र (24) का स्थान है। सामूहिक रूप से भारतीय अरबपतियों की संपत्ति 1 खरब डॉलर के बराबर है, जो वैश्विक अरबपतियों की संपत्ति का 7 फीसदी है, जो देश के पर्याप्त आर्थिक प्रभाव को दर्शाता है।

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