मुख्य समाचार
सपा के ‘दंगल’ में रैफरी बनेंगे आजम
लखनऊ | उत्तर प्रदेश में एक तरफ जहां सभी राजनीतिक दल विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटे हैं, वहीं दूसरी ओर राज्य की सत्तारूढ़ समाजवादी पार्टी में मची कलह खत्म होने का नाम ही नहीं ले रही है। मंगलवार को कई बैठकें और मुलाकातों के बाद भी पिता-बेटे के बीच कोई सुलह नहीं हो पाई।
उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री आजम खान बुधवार को एक बार फिर अंतिम बार अखिलेश-मुलायम के बीच सुलह कराने का प्रयास करेंगे। आजम खान ने कहा था कि इस विवाद को खत्म करने के लिए जो भी करना पड़ेगा करेंगे, जिसके हाथ जोड़ने पड़ेंगे जोड़ लेंगे। जल्द ये तकरार खत्म हो जाएगी। आजम खान वैसे तो किसी के आगे जल्दी झुकते नहीं हैं, लेकिन समाजवादी पार्टी में जारी तकरार को खत्म करने के लिए वह कुछ भी करने को तैयार हैं।
पार्टी में जारी घमासान को सुलझाने के लिए आजम खान ने मुलायम सिंह से मुलाकात की है और आज फिर से मुलाकातों का दौर चलने वाला है। मुलायम से मिलने आजम कल दिल्ली गए थे, लेकिन मुलायम तब तक लखनऊ पहुंच गए।
आजम खान हालांकि बुधवार को लखनऊ पहुंच गए हैं और मुख्यमंत्री को लेकर उनके पिता मुलायम सिंह यादव के पास जाएंगे।
आजम ने कहा, “सुलह की एक और कोशिश करूंगा। हालांकि मुझे अपनी हद के बारे में पता है। मैं उतनी ही चादर फैलाने का प्रयास करूंगा जितना मेरे पास है। एक सीमा तक ही मैं इस मामले में दखल दे सकता हूं उसके बाद नहीं।”
उल्लेखनीय है कि मंगलवार को अखिलेश व मुलायम सिंह यादव के बीच करीब तीन घंटे तक बातचीत हुई थी। लेकिन अखिलेश अब भी अपनी शतरें पर कायम हैं, जिसके चलते कल सुलह की कोशिश के बाद भी रास्ता नहीं निकल पाया है।
सपा सूत्रों के मुताबिक, अखिलेश यादव ने जो शर्तें रखी हैं उसके अनुसार, सपा के राष्ट्रीय महासचिव अमर सिंह को पार्टी से बाहर करना, शिवपाल यादव को राष्ट्रीय स्तर पर भेजना और स्वयं मुख्यमंत्री को उत्तर प्रदेश में विधानसभा टिकट के बंटवारे का अधिकार देना शामिल है। लेकिन मुलायम सिंह यादव अमर सिंह को पार्टी से बाहर निकालने के लिए राजी नहीं हैं। उन्होंने भी अखिलेश से राष्ट्रीय अध्यक्ष पद से हटने और रामगोपाल को पार्टी से बाहर रखने की बात कही है, लेकिन अखिलेश इस पर तैयार नहीं हैं।
नेशनल
गृहमंत्री अमित शाह ने वाराणसी में काल भैरव मंदिर में की पूजा-अर्चना, बीजेपी की जीत का मांगा आशीर्वाद
वाराणसी। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने गुरुवार को काशी के कोतवाल कहे जाने वाले काल भैरव के दर्शन किए। इस दौरान उन्होंने बीजेपी और पीएम मोदी की जीत का आशीर्वाद मांगा।
बता दें कि गृह मंत्री बुधवार की शाम काशी दौरे पर पहुंचे थे। वे महमूरगंज के मोतीझील में पीएम नरेंद्र मोदी और वाराणसी से भाजपा प्रत्याशी के चुनाव कार्यालय का उद्घाटन किया। फिर मोतीझील मैदान में जनसभा को संबोधित किया। उन्होंने काशी के कार्यकर्ताओं में लोकसभा चुनाव को लेकर जोश भरने का काम किया। उसके बाद उन्होंने काशी में ही रात्रि विश्राम किया था। गुरुवार सुबह अचानक से दर्शन पूजन का प्लान तैयार किया गया था। इसके क्रम में प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र में गृहमंत्री ने सबसे पहले काल भैरव मंदिर में दर्शन पूजन किया.
काशी के कोतवाल का दर्शन करने के बाद उन्हें विश्वनाथ मंदिर भी जाना था लेकिन अचानक से उनके कार्यक्रम में हुए बदलाव के बाद वह सीधे एयरपोर्ट के लिए रवाना हो गए, जहां से वह अगले कार्यक्रम के लिए जाएंगे। फिलहाल गृहमंत्री ने काल भैरव मंदिर में विशेष पूजन किया है। काल भैरव मंदिर के महंत नवीन गिरी का कहना है कि काल भैरव अष्टक के साथ उनका विशेष पूजन करवाया गया है ताकि सुख, शांति व समृद्धि के साथ उन्हें बड़ी जीत मिल सके।
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